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"दुनिया का सबसे बड़ा मुस्लिम देश बनेगा भारत?" – प्यू रिसर्च का चौंकाने वाला दावा




📍 नई दिल्ली | रिपोर्ट विशेष

प्यू रिसर्च सेंटर की ताज़ा जनसांख्यिकीय रिपोर्ट ने दुनिया भर में हलचल मचा दी है। इस रिपोर्ट के अनुसार आने वाले 25 वर्षों में भारत विश्व का सबसे बड़ा मुस्लिम आबादी वाला देश बन सकता है। यह अनुमान सिर्फ एक आंकड़ा नहीं, बल्कि भारत की धार्मिक बनावट में संभावित परिवर्तन का संकेत है, जिसका सामाजिक और राजनीतिक असर गहरा हो सकता है।


📊 मुस्लिम आबादी में विस्फोटक बढ़ोतरी

  • 2020 में वैश्विक मुस्लिम जनसंख्या: 25.6%

  • 2010 में थी: 23.9%

  • दुनिया में सबसे बड़ी वृद्धि: 34.7 करोड़ मुस्लिमों की बढ़ोतरी – जो सभी अन्य धर्मों की संयुक्त वृद्धि से भी अधिक है।

  • भारत में वृद्धि: 3.56 करोड़ मुसलमान बढ़े।

👉 इस रफ्तार से भारत इंडोनेशिया को पीछे छोड़ सकता है, जो फिलहाल सबसे अधिक मुस्लिम जनसंख्या वाला देश है।


👶 क्यों बढ़ रही है मुस्लिम आबादी?

  • प्रजनन दर सबसे अधिक: मुस्लिम महिलाओं की औसत 2.9 संतानें

  • 15 वर्ष से कम आयु के मुस्लिम: 35%

  • युवा जनसंख्या और पारिवारिक विस्तार की परंपरा इस बढ़ोत्तरी की मुख्य वजहें हैं।


🕉️ हिंदुओं की घटती भागीदारी

  • 2020 में हिंदू जनसंख्या: 1.2 अरब (14.9% वैश्विक हिस्सेदारी)

  • 2010-2020 वृद्धि: केवल 12%, जो वैश्विक औसत के समान

  • भारत में गिरावट:

    • 2010: 80%

    • 2020: 79%
      👉 मुस्लिमों की हिस्सेदारी भारत में 14.3% से बढ़कर 15.2% हो गई है।


✝️ ईसाई और नास्तिकों की कहानी

  • ईसाई जनसंख्या: 2.30 अरब

    • लेकिन वैश्विक हिस्सा घटकर 28.8%

    • वजह – यूरोप, अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया में धर्म छोड़ने का ट्रेंड

  • नास्तिक और अज्ञेयवादी:

    • अब 1.9 अरब (24.2%)

    • तेजी से बढ़ने वाला दूसरा सबसे बड़ा समूह

    • चीन में 78.3% लोग नास्तिक


🧠 विशेषज्ञों की चेतावनी

प्यू रिसर्च के वरिष्ठ जनसांख्यिकी विशेषज्ञ हैकेट के अनुसार –

“मुस्लिमों की युवा आबादी और उच्च जन्म दर दुनिया के धार्मिक संतुलन को प्रभावित कर रही है। आने वाले वर्षों में इसका असर भारत जैसे बहुधार्मिक समाजों पर साफ दिखाई देगा।”


🚨 क्या है भारत के लिए अलर्ट?

  • देश में धार्मिक जनसंख्या की संरचना बदल सकती है

  • इससे नीतियों, राजनीति, आरक्षण, सामाजिक ताने-बाने पर असर पड़ेगा

  • सरकार और समाज दोनों को संतुलन, समावेशिता और संवाद की दिशा में ठोस रणनीति बनानी होगी


📌 Rvkd NEWS विश्लेषण:
भारत जैसे लोकतांत्रिक, धर्मनिरपेक्ष देश के लिए यह परिवर्तन केवल आंकड़ा नहीं – एक चेतावनी है। धर्म के नाम पर विभाजन की जगह सद्भाव और दूरदृष्टि से भविष्य निर्माण की ज़रूरत है।

📣 "भारत दुनिया का सबसे बड़ा मुस्लिम देश बन सकता है... लेकिन क्या हम सबसे समझदार देश बन पाएंगे?"

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